फर्रुखाबाद। कोरोना की आरटीपीसीआर जांच के लिए लोहिया अस्पताल में खोली गई बीएसएल-2 लैब में अब चूहों और नमी में पैदा होने वाले विशेष कीट से फैलने वाले लैप्टो स्पायरोसिस व स्क्रब टाइफस की जांच होगी। स्वास्थ्य विभाग ने इसकी तैयारियां पूरी कर ली हैं। शीघ्र ही लैब में इसका शुभारंभ कर दिया जाएगा।
डॉ. राममनोहर लोहिया अस्पताल की बीएसएल-2 लैब में कोरोना के खात्मे के बाद डेंगू की एलाइजा जांच शुरू कर दी गई थी। अब जिले में भीषण बाढ़ के बाद खेतों में जलभराव से चूहे गांवों और ऊंचाई की ओर पलायन कर गए हैं। ऊंचाई के स्थानों पर बाढ़ प्रभावित लोगों का भी काफी दिनों तक रहना हुआ। यही नहीं नमी में पैदा होने वाले विशेष प्रकार के कीटों से होने वाली बीमारियों की आशंका को देखते हुए स्वास्थ्य विभाग ने तैयारियां शुरू कर दी हैं। सीएमओ डॉ. अवनींद्र कुमार ने बताया कि बीएसएल-2 लैब में लैप्टो स्पायरोसिस और स्क्रब टाइफस बुखार की जांच की तैयारी पूरी कर ली गई है। उन्होंने बताया कि लैप्टो स्पायरोसिस बुखार 40 से 45 साल के लोगों में फैलता था, मगर अब इसके बच्चे भी शिकार होने लगे हैं। बच्चों में यह बीमारी चूहे के मूत्र से होती है। इसमें डेंगू की तरह बुखार आता है और पूरे शरीर को प्रभावित करता है।
सीएमओ ने बताया कि अधिक दिनों तक नमी रहने से जुए के आकार का एक कीट पैदा हो जाता है। उससे स्क्रब टाइफस नामक बीमारी फैलती है। इसमें भी तेज बुखार की शिकायत होती है। इन दोनों बीमारियों की जांच के लिए तैयारियां पूरी कर ली गई हैं। शीघ्र ही जांच शुरू करवा दी जाएगी। इससे मरीजों को दूरदराज अथवा निजी लैबों के चक्कर नहीं काटने होंगे।