जी-20 शिखर सम्मेलन के दौरान कमांड एंड कंट्रोल सेंटर से सभी सुविधाओं व दिक्कतों की निगरानी की जाएगी

एनडीएमसी के उपाध्यक्ष ने सेंटर की गतिविधियों से अवगत कराया

अमर उजाला ब्यूरो

नई दिल्ली। जी-20 शिखर सम्मेलन के दौरान नई दिल्ली इलाके को साफ सुधरा बनाए रखने के साथ-साथ अपनी सभी सुविधाओं, कार्यों, समस्या, परेशानी आदि पर एनडीएमसी सीसीटीवी से नजर रखेगी। उसने अपनी सभी सुविधाओं व इलाके को कमांड एंड कंट्रोल सेंटर से जोड़ा है। यह सेंटर 24 घंटे सातों दिन कार्य करेगा और अधिकारी व कर्मचारी पूरे इलाके व सुविधाओं और कार्यों की निगरानी करेंगे। इस दौरान वे किसी भी चूक व खामी के बारे में संबंधित अधिकारियों को तत्काल अवगत कराएंगे। इसके लिए इलाके में 441 सीसीटीवी कैमरे स्थापित किए गए हैं। यह सभी कैमरे कमांड एंड कंट्रोल सेंटर से नियंत्रित किए जाएंगे।

एनडीएमसी के उपाध्यक्ष सतीश उपाध्याय ने शुक्रवार को सेंटर का निरीक्षण करने के बाद उसकी गतिविधियों से अवगत कराया। उन्होंने बताया कि सेंटर में 18 स्क्रीन वाला मॉनिटरिंग कंसोल है, उसमें 50 कर्मचारी 24 घंटे सातों दिन कार्य करेंगे। इससे सभी 16 हजार स्मार्ट लाइटें जोड़ी गईं हैं। इससे ही उन्हें बंद व चालू किया जाएगा और खराब लाइटों के बारे में मालूम हो सकेगा। वहीं साफ सफाई सुविधा से जुड़े 974 रेडियो फ्रीक्वेंसी आइडेंटिफिकेशन (आरएफआईडी) बिन, 16 सीएंडडी अपशिष्ट और छह मैकेनिकल रोड स्वीपर वाहन इसके तहत जीपीएस के जरिये निगरानी में रहेंगे। वही अधिक कूड़े पैदा करने वाले होटल, आवासीय परिसर, प्रमुख बाजार समेत 90 स्थानों से कूड़ा उठाने वाले वाहनों पर भी जीपीएस से नजर रखी जाएगी। एनडीएमसी यातायात की स्थिति व सड़कों पर खड़े होने वालों के साथ-साथ पार्किंगों पर भी नजर रखेगी। उसने अपनी 97 पार्किंग स्थल में 8,044 वाहन खड़े करने की व्यवस्था की है। इन पार्किंग में जगह खाली होने के बारे में मालूम करने व वाहन खड़े करने की बुकिंग करने की व्यवस्था 311 एप में की गई है।

वह अपने सेंटर से प्रदूषण की स्थिति पर ध्यान देगी। प्रदूषण का स्तर बढ़ने वाले स्थानों पर तत्काल टैंकरों के माध्यम से पानी छिड़कने की कार्रवाई की जाएगी। वहीं 155 वाई-फाई एक्सेस प्वाइंट की भी निगरानी सेंटर से ही करेगी। इसी तरह वह अपने इलाके में लगे 50 एलईडी स्क्रीन वितरण होने वाली सामग्री पर भी सेंटर से ही निगरानी रखेगी। उन्होंने बताया कि सुविधाओं के रखरखाव के लिए तीन हजार कर्मचारियों को तैनात करने का निर्णय लिया है।



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